कोरबा: मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय द्वारा कोल परिवहन के लिए परमिट जारी करने की ऑफलाइन प्रक्रिया को फिर से ऑनलाइन करने की घोषणा का श्रम मंत्री लखन लाल देवांगन ने स्वागत किया। उन्होंने कहा कि इस प्रक्रिया से कोयले के उठाव और परिवहन में तेजी आएगी।
मंत्री देवांगन ने कहा कि पूर्ववर्ती कांग्रेस सरकार ने अवैध उगाही करने के उदृदेश्य से ऑनलाइन प्रक्रिया को ऑफलाइन कर दिया था, ताकि प्रति टन कोयले के पीछे 25 रूपए वसूला जा सके। उन्होंने बताया कि पूर्ववर्ती सरकार ने यह व्यवस्था शुरु की थी, ताकि ई-परमिट का भौतिक सत्यापन करने के बाद ही ट्रांजिट पास जारी होता था।
कांग्रेस सरकार ने अवैध उगाही का गढ बनाया
मंत्री देवांगन ने कहा कि भौतिक सत्यापन के नाम पर सिर्फ वसूली का खेल खेला गया था। कोरबा को कांग्रेस सरकार ने अवैध उगाही का गढ बना लिया गया था। कोरबा की छवि इससे खराब हुई थी, एक प्रकार से गुंडाराज हावी हो चुका था।
कोल परिवहन से जुडे व्यवसायियों में हर्ष का माहौल
कोल परिवहन से जुडे व्यवसायियों में हर्ष का माहौल
विधानसभा चुनाव में भाजपा ने वादा किया था कि सरकार आते ही इस तरह के गलत नीतियों को बदलेगी, ताकि कोल परिवहन से भ्रष्टाचार पूरी तरह से समाप्त हो सके। अब सीएम ने प्रक्रिया को फिर से ऑनलाइन करने की घोषणा कर दी है। इससे कोल परिवहन से जुडे व्यवसायियों में हर्ष का माहौल है।
अब भौतिक सत्यापन के नाम पर ट्रांजिट पास के लिए लगने वाले समय की भी बचत होगी, मंत्री लखन लाल देवांगन ने कहा कि पारदर्शिता, भ्रष्टाचार मुक्त सुशासन के ध्येय वाक्य के साथ सरकार ने यह निर्णय लिया है।
(Bureau Chief, Korba)