Tuesday, December 30, 2025

              CG: बाल संरक्षण की टीम स्कूल छात्रावासों में जे जे एक्ट, पॉक्सो एक्ट बताकर सेफ टच-अनसेफ टच के प्रति बच्चों को कर रहे है जागरूक…

              कवर्धा: कलेक्टर एवं अध्यक्ष जिला बाल संरक्षण समिति श्री जनमेजय महोबे के निर्देशानुसार आईसीपीएस की टीम ने शासकीय प्री मैट्रीक अनुसूचित जाति, अनुसूचित जनजाति, कन्या छात्रावास कवर्धा, शासकीय अनुसूचित जाति कन्या परिसर छात्रावास इंदौरी, शासकीय पूर्व माध्यमिक शाला पालनसरी एवं शासकीय पूर्व माध्यमिक शाला छोटे रगरा में जाकर बच्चों, शिक्षकों, पालकों एवं कार्यरत सभी कर्मचारियों को किशोर न्याय (बालकों के देखरेख एवं संरक्षण) अधिनियम 2015 के तहत् देखरेख एवं संरक्षण की आवश्यकता वाले बच्चों एवं लैगिक अपराधों से बालकों का संरक्षण अधिनियम 2012 एवं बच्चों के लिये बने विभिन्न कानूनों के बारे में विस्तृत रूप से बताया गया। आईसीपीएस टीम ने बच्चों को यौन हमलो से बचने तरीके बताते हुए यौन अपराधों से बच्चों का संरक्षण करने के लिए तथा बच्चों के यौन उत्पीड़न व यौन शोषण जैसे अपराधों को रोकने के लिए बने पोक्सो अधिनियम 2012 के बोर में विस्तृत जानकारी दी।

              उन्होंने बताया की इस अधिनियम के तहत बच्चे के साथ किसी भी तरह की छेड़छाड़ करने वाले व्यक्ति को कड़ी सजा का प्रावधान है। 18 साल से कम उम्र के बच्चों से किसी भी तरह का यौन व्यवहार इस कानून के दायरे में है। यह कानून लड़के व लड़की को समान रूप से सुरक्षा प्रदान करता है। बच्चों को यह भी बताया गया कि कोई व्यक्ति आपके शरीर के अंग को गलत तरीके से छूने की कोशिश करें तो ये बैड टच होता है। इसके अलावा अगर कोई आपको प्यार से टच करे जैसे कि माथे पर हाथ फेरना या प्यार से गालों को खींचना ये सभी गुड टच में गिने जाते हैं। अगर कोई गलत तरीके से छुने का जबरदस्ती प्रयास ऐसे स्थिति में प्रताड़ित करने वाले से बचने के लिए जोर से मना करें, हल्ला मचाएं और वहां निकलकर पब्लिक पैलेस की ओर जाए ताकि आसपास के लोग आपकी चीख सुनकर बचा सकें। इस कानून में पीडित की पहचान छुपाने का प्रावधान है, अगर कोई पहचान उजागर करता है तो उसके लिए भी सजा का प्रावधान है। बच्चों से अपील की गई कि कोई आपके साथ जबरदस्ती करता है तो अपने माता-पिता टीचर्स या जिनपर आप ज्यादा विश्वास करते हैं उसको अवश्य बताएं। ताकि अत्याचार करने वाले पर लगाम लगाया जा सके। कार्यक्रम में जिला बाल संरक्षण अधिकारी श्री सत्यनारायण राठौर, सुश्री संरक्षण अधिकारी क्रांती साहू, सामाजिक कार्यकर्ता श्रीमती परमेश्वरी धुर्वे श्रीमती श्यामा धुर्वे, आउटरिच वर्कर श्रीमती नितिन किशोरी वर्मा, जिला बाल संरक्षण इकाई महिला एवं बाल विकास विभाग श्रीमती भारती मांडवी, अधीक्षिका श्रीमती अनिता ठाकुर, श्रीमती चम्पादेवी वारते, गुनाराम साहू प्रधान पाठक शासकीय पूर्व माध्यमिक शाला छोटे रगरा प्रधान पाठक शासकीय पूर्व माध्यमिक शाला पालनसरी अध्ययनरत बच्चें शिक्षक शिक्षिकाओं, बच्चों के पालकों का विशेष योगदान रहा।

              उल्ल्ेखनीय है कि कलेक्टर एवं अध्यक्ष जिला बाल संरक्षण समिति श्री जनमेजय महोबे के निर्देशानुसार, जिला कार्यक्रम अधिकारी महिला एवं बाल विकास अधिकारी के मार्गदर्शन एवं जिला बाल संरक्षण अधिकारी के नेतृत्व में मिशन वात्सल्य अंतर्गत महिला एवं बाल विकास विभाग जिला बाल संरक्षण इकाई टीम द्वारा जिले के सभी शासकीय, निजी शिक्षण संस्थानों, स्कूल, छात्रावासों में अध्ययनरत बच्चो,ं शिक्षकों, कर्मचारियों, पालकों एवं लोगों को किशोर न्याय (बालकों की देखरेख एवं संरक्षण) अधिनियम 2015 लैंगिक अपराधों से बालकों का संरक्षण अधिनियम 2012 जानकारी देकर बच्चों के सुरक्षा संरक्षण अधिकार एवं सेफटच व अनसेफ टच के प्रति जन जागरूकता लाने विशेष अभियान चलाया जा रहा है।


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