Saturday, April 20, 2024
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पत्नी से ही फर्जीवाड़ा: ​​​​​​​भिलाई में महिला के मकान को गिरवी रखकर पति ने लिया 26.5 लाख रुपए का लोन, जब कब्जे का नोटिस चस्पा हुआ तब पता चला…

  • सुपेला क्षेत्र के खुर्सीपार वार्ड का मामला, कलेक्टर के आदेश पर जांच के बाद FIR दर्ज
  • दो बच्चों के साथ रहती है महिला, कंपनी कर्मचारियों पर भी लगाया मिलीभगत का आरोप

छत्तीसगढ़ के भिलाई में एक महिला से उसके ही पति ने फर्जीवाड़ा कर 26.5 लाख रुपए हड़प लिए। आरोपी पति ने महिला के मकान को उसके गिरवी रखकर लोन ले लिया। जब फाइनेंस कंपनी की ओर से घर पर कब्जे करने के लिए नोटिस चस्पा किया गया तब महिला को इसका पता चला। महिला ने कंपनी कर्मचारियों पर भी मिलीभगत का आरोप लगाया है। फिलहाल कलेक्टर के आदेश के बाद जांच कर सुपेला थाना पुलिस ने FIR दर्ज कर ली है।

जानकारी के मुताबिक, न्यू खुर्सीपार निवासी सरिता अग्रवाल अपने दो बच्चों जतिन और सृष्टि के साथ रहती हैं। जबकि उनके पति ऋषिकेष अग्रवाल अलग रहते हैं। सरिता अग्रवाल का कहना है कि उस मकान पर उनका ही स्वामित्व और कब्जा है। उस मकान पर AU स्मॉल फाइनेंस कंपनी की ओर से एक नोटिस चस्पा किया गया। बताया गया कि मकान को बंधक रखकर 26.5 लाख रुपए का लोन उनके व पति के नाम से दिया गया है।

कंपनी ने शुल्क लेने के बाद भी लोन संबंधित दस्तावेजों की प्रमाणित प्रति नहीं दी
इस पर सरिता ने कंपनी से लोन संबंधित दस्तावेजों की प्रमाणित प्रति मांगी। इसके लिए 200 रुपए का शुल्क भी जमा किया। आरोप है कि इसके बाद भी कंपनी की ओर से उन्हें कोई कागजात उपलब्ध नहीं कराए गए। सरिता का आरोप है कि इससे पता चलता है कि कंपनी के कर्मचारियों ने मिलीभगत का अवैध रूप से उनके मकान को बंधक बना रखा है। वहीं कंपनी की ओर से प्रशांत देवांगन ने कब्जा लेने के लिए कलेक्टर कोर्ट में आवेदन भी दिया है।

पति के पास थे संपत्ति के दस्तावेज, फर्जी साइन करने का आरोप
सरिता का कहना है कि मकान के दस्तावेज उनके पति के पास ही रहते थे। आरोप लगाया कि उनके फर्जी साइन लोन के दस्तावेजों में इस्तेमाल किए गए। यह भी आरोप लगाया कि कंपनी के कर्मचारी प्रशांत ने फर्जी दस्तावेज खुद तैयार किए हैं, या फिर उनकी मिलीभगत है। उनकी बिना जानकारी के हस्ताक्षर कैसे आए। वहीं पुलिस जांच में प्रथम दृष्टया मामले में फर्जीवाड़ा और फर्जी साइन की बात सामने आई है। इसके बाद मामला दर्ज किया गया है।

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