छत्तीसगढ़: राजनांदगांव जिले में एक महिला राज्यपाल से इच्छामृत्यु की मांग करने वाली है। उसका कहना है कि पति की मौत के बाद ससुरालवालों ने उसे काफी प्रताड़ित किया है। खर्चा पानी भी नहीं दे रहे। प्रशासन और पुलिस से भी कई बार गुहार लगा चुकी। कोई नहीं सुन रहा, इसलिए वो अब राज्यपाल से इच्छामृत्यु की मांग करेंगी।
राजनांदगांव की रहने वाली पुष्पा लालवानी(32) ने 2010 में शहर के ही सिंधी कॉलोनी निवासी दीपक लालवानी(37) से अंतरजातीय प्रेम विवाह किया था। इससे दोनों की एक 9 साली के छोटी बेटी भी है। सब कुछ ठीक चल रहा था। इस बीच 3 जनवरी 2022 को दीपक की मौत हो गई। दीपक की तबीयत खराब होने के कारण उसकी जान चले गई। इस पूरे मामले को लेकर पुष्पा ने प्रेस क्लब में पत्रकारों से अब बात की है और अपनी पूरी परेशानी को सामने रखा है।
दूसरे जगह किराए के मकान में रहने लगे
पुष्पा ने बताया कि शादी के बाद मैं और दीपक ससुराल गए थे। मगर मेरे ससुराल वालों को ये अंतरजातीय विवाह पसंद नहीं था। इस वजह से हम दोनों शहर के दूसरे इलाके में किराए के मकान में रहने लगे। इस बीच जब दीपक की मौत हो गई। इससे हमारा खर्चा पानी चलना मुश्किल हो गया। बच्ची भी छोटी है ऐसे में उसकी पढ़ाई लिखाई पर भी असर पड़ने लगा। इसके बाद मैं अपने ससुराल गई थी।
ससुराल वालों ने खर्चा देने से मना किया, विवाद भी हुआ
पुष्पा ने बताया कि ससुराल जाने पर ससुराल वालों ने खर्चा पानी देने से मना कर दिया। कई बार विवाद भी हुआ। काफी निवेदन करने पर भी वह बात नहीं सुन रहे। जिसके चलते कुछ समय पहले मैं अपने ससुराल के सामने ही धरने पर बैठ गई थी। फिर भी ससुराल वालों ने मेरी बात नहीं सुनी। इस पर मैंने पुलिस से भी शिकायत की। प्रशासन से कई बार गुहार लगाया। लेकिन इतना समय बीतने के बाद भी कोई ध्यान नहीं दे रहा। जिसकी वजह से मैं परेशान हूं।
कलेक्ट्रेट के सामने धरने पर बैठूंगी
पुष्पा का कहना है कि सब जगह गुहार लगाकर लगाकर मैं थक चुकी हूं। पर बात नहीं बन रही। इसलिए मैंने तय किया है कि अब कलेक्ट्रेट ऑफिस के सामने धरने पर बैठूंगी। इसके बाद भी बात नहीं बनती तो राज्यपाल से इच्छामृत्यु की मांग करूंगी। यह बात करते-करते महिला काफी भावुक भी थी। वह अपने बेटी और मायके वालों के साथ प्रेस क्लब पहुंची थी।
इस मामले में अजाक थाना प्रभारी शिव राम कुंजाम ने कहा कि महिला ने शिकायत की थी। पारिवारिक मामला था। इसलिए हमने धारा 155 का फैना काटकर दे दिया गया है। इसलिए मामला कोर्ट में चला गया है।