Friday, August 22, 2025

छत्तीसगढ़ : दादी पोती हत्याकांड के आरोपियों को पकड़ने होगा पॉलिग्राफिक टेस्ट, पुलिस ने कोर्ट से ली अनुमति

दुर्ग: जिले के गनियारी गांव में 4 महीने पहले दादी और पोती की निर्मम हत्या का मामला अब तक अनसुलझा है। इस मामले में आरोपियों को पकड़ने के लिए पुलिस अब पॉलीग्राफिक टेस्ट का सहारा लेगी। इसके लिए पुलिस ने कोर्ट से अनुमति भी ले ली है। जल्द ही पुलिस आगे की प्रक्रिया शुरू करेगी।

दुर्ग एसपी जितेंद्र शुक्ला ने बताया कि पुलिस गनियारी गांव में हुई दादी पोती की निर्मम हत्या के मामले में पुलिस संदेहियों का पॉलिग्राफिक टेस्ट कराने जा रही है। इसके लिए न्यायालय से अनुमति भी ले ली गई है। बता दें कि पाटन क्षेत्र के बहुचर्चित खुड़मुडा हत्याकांड के बाद यह दूसरा ऐसा मामला है जिसमें दुर्ग पुलिस संदिग्ध आरोपियों का पॉलिग्राफिक टेस्ट कराने जा रही है।

कमरे के अंदर खून से लतपथ लाश मिली थी राजवती साहू की

कमरे के अंदर खून से लतपथ लाश मिली थी राजवती साहू की

एसपी दुर्ग जितेन्द्र शुक्ला ने बताया कि पुलिस आरोपियों तक लगभग पहुंच चुकी है, लेकिन संदिग्ध आरोपियों के खिलाफ उनके पर पर्याप्त सबूत नहीं है। इसके कारण पुलिस उन्हें गिरफ्तार नहीं कर पा रही है। इसलिए पुलिस ने इस टेस्ट को कराने का निर्णय लिया है। इसके लिए संबंधित न्यायालय में अपील की गई। जिसके बाद पॉलिग्राफिक टेस्ट कराने के लिए परमिशन मिल चुकी है।

थोड़ी दूर पर पोती सविता की लाश भी खून से लतपथ मिली थी।

थोड़ी दूर पर पोती सविता की लाश भी खून से लतपथ मिली थी।

जरूर पड़ी तो होगा नार्को टेस्ट

दुर्ग एसपी जितेंद्र शुक्ला ने बताया कि उनकी टीम सभी संदिग्धों का पॉलीग्राफिक टेस्ट कराएगी। इसके बाद भी यदि संदिग्ध के खिलाफ पर्याप्त साक्ष्य नहीं मिले तो पुलिस उनका नार्को टेस्ट भी कराएगी। इसके लिए भी कोर्ट से अनुमति ली जाएगी। एसपी का कहना है कि उम्मीद है कि इस टेस्ट के बाद अगले महीने इस मामले का खुलासा हो जाएगा।

दादी पोती की हुई थी निर्मम हत्या

बता दें कि 7 मार्च 2024 को दुर्ग के गनियारी गांव में 62 वर्षीय राजवती साहू और उसकी 17 वर्षीय पोती सविता साहू की उन्हीं के घर में खून से लतपथ लाश मिली थी। अज्ञात आरोपियों ने उनकी निर्मम हत्या कर दी थी। जिसके बाद पुलिस की क्राइम टीम ने हजारों काल डिटेल खंगाले और सैकड़ों लोगों से पूछताछ भी की, सीसीटीवी फुटेज खंगाले, लेकिन पुलिस के हाथ अब तक खाली हैं। पुलिस ने इस मामले में चार संदिग्धों को हिरासत में भी लिया था, लेकिन सबूत के अभाव में उन्हें छोड़ना पड़ा।

आरोपियों के बारे में जानकारी देने पर खोषित किया गया ईनाम

दुर्ग पुलिस के हाथ पूरी जांच के बाद भी जब कुछ नहीं लगा तो आोरपियों को पकड़ने के लिए आईजी दुर्ग रामगोपाल गर्ग ने 25 हजार रुपए ईनाम की घोषणा की। इसके बाद एसपी जितेंद्र शुक्ला ने भी आरोपी के बारे में जानकारी देने वाले को 10 हजार रुपए ईनाम देने की घोषणा की है।



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