Wednesday, January 1, 2025
              Homeछत्तीसगढ़अमेरिका के नव-निर्वाचित राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प ने H-1B वीजा पर मारी पलटी,...

              अमेरिका के नव-निर्वाचित राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प ने H-1B वीजा पर मारी पलटी, कहा- मैं हमेशा से इसके सपोर्ट में, मेरी कंपनी में भी कई H-1B वीजा वाले लोग

              वॉशिंगटन: अमेरिका में अब तक H-1B वीजा का विरोध कर रहे डोनाल्ड ट्रम्प ने पलटी मार ली है। ट्रम्प ने शनिवार को कहा कि वो इसका समर्थन करते हैं। ट्रम्प ने न्यूयॉर्क टाइम्स से कहा कि मैं हमेशा से इस वीजा के सपोर्ट में रहा हूं।

              ट्रम्प ने कहा-

              मैं H-1B में भरोसा करता हूं। मेरी कंपनियों में भी कई H-1B वीजा वाले लोग हैं। मैंने कई बार इसका इस्तेमाल किया है और यह एक बेहतरीन प्रोग्राम हैं।

              ट्रम्प के यह बयान इस साल नवंबर में उनके इलेक्शन कैंपेन के दौरान दिए गए बयान से एक दम उलट है। इलेक्शन कैंपेन के दौरान ट्रम्प ने अवैध प्रवासियों को देश से निकालने और वीजा पॉलिसी को सख्त बनाने की बात कही थी।

              इससे पहले ट्रम्प ने 2020 में H-1B और L-1 वीजा को संस्पेंड कर दिया था। ट्रम्प ने 2016 के इलेक्शन कैंपेन में भी H-1B वीजा का विरोध किया था। तब उन्होंने कहा था कि यह वीजा प्रोग्राम वर्कर्स के लिए बहुत बुरा है और हमें इसे जल्द खत्म कर देना चाहिए।

              इसी साल नवंबर में अपने इलेक्शन कैंपने के दौरान ट्रम्प ने वीजा नियमों को सख्त बनाने की बात कही थी।

              इसी साल नवंबर में अपने इलेक्शन कैंपने के दौरान ट्रम्प ने वीजा नियमों को सख्त बनाने की बात कही थी।

              H-1B वीजा क्या होता है?

              H-1B नॉन-इमीग्रेंट वीजा होता हैं, जिसके तहत अमेरिकी कंपनियों को विशेष तकनीकी दक्षता वाले पदों पर विदेशी पेशेवरों को नियुक्त करने की अनुमति होती है। इस वीजा के जरिए टेक्नोलॉजी सेक्टर की कंपनियां हर साल भारत और चीन जैसे देशों से हजारों वर्कर्स की नियुक्ति करती है।

              H-1B वीजा आमतौर पर उन लोगों के लिए जारी किया जाता है,जो किसी खास पेशे (जैसे-IT प्रोफेशनल, आर्किट्रेक्टचर, हेल्थ प्रोफेशनल आदि) से जुड़े होते हैं। ऐसे प्रोफेशनल्स जिन्हें जॉब ऑफर होता है उन्हें ही ये वीजा मिल सकता है। यह पूरी तरह से एम्पलॉयर पर डिपेंड करता है। यानी अगर एम्पलॉयर नौकरी से निकाल दे और दूसरा एम्पलॉयर ऑफर न करे तो वीजा खत्म हो जाएगा।

              वीजा पर ट्रम्प समर्थकों की राय भी आपस में बंटी हुई

              H-1B वीजा को लेकर ट्रम्प समर्थकों की राय भी आपस में बंटी हुई है। लॉरा लूमर, मैट गेट्ज और एन कूल्टर जैसे ट्रम्प समर्थक खुलकर इस वीजा का विरोध कर रहे हैं। इन लोगों का कहना है कि H-1B वीजा से विदेशी लोगों को अमेरिका में नौकरी मिलने मिलेगी और अमेरिकी लोगों की नौकरियां छिन जाएगी।

              दूसरी तरफ जल्द ट्रम्प सरकार में डिपार्टमेंट ऑफ गवर्नमेंट एफिशिएंसी (DoGE) विभाग वाले इलॉन मस्क और विवेक रामास्वामी ने H-1B वीजा का समर्थन किया है। इनका कहना है कि अमेरिका को आर्थिक रूप से मजबूत करने के लिए दुनिया के टॉप लोगों को नौकरियों पर रखनी चाहिए।

              श्रीराम कृष्णन को AI एडवाइजर बनाने पर भिड़े ट्रम्प समर्थक

              बीते गुरुवार को इस वीजा लेकर ट्रम्प समर्थक आपस में ही भिड़ गए थे। दरअसल 23 दिसंबर को भारतीय मूल के श्रीराम कृष्णन को डोनाल्ड ट्रम्प प्रशासन में AI पॉलिसी एडवाइजर के तौर पर नियुक्त किया गया है। इसे लेकर ट्रम्प समर्थक लॉरा लूमर नाराज हो गई थीं।

              लॉरा का कहना था कि

              ट्रम्प प्रशासन कई वामपंथी नियुक्त हो रहे हैं। ये ऐसे विचार रखते हैं जो अमेरिका फर्स्ट एजेंडे के खिलाफ हैं। हमारे देश का निर्माण गोरे यूरोपियों ने किया था, भारतीयों ने नहीं।

              इस पर इलॉन मस्क ने एक पोस्ट में कहा-

              आप क्या चाहते हैं, अमेरिका जीते या हारे? अगर आप दुनिया की सबसे बेहतरीन प्रतिभाओं को दूसरी तरफ जाने के लिए मजबूर करेंगे, तो अमेरिका हार जाएगा। सारी बातें यही पर जाकर खत्म हो जाती हैं।

              ट्रम्प समर्थक लॉरा लूमर नस्लभेदी बयान देने के लिए जानी जाती हैं। उन्होंने कुछ महीने पहले कहा था कि अगर कमला राष्ट्रपति बनीं तो पूरा व्हाइट हाउस करी की तरह महकेगा।

              ट्रम्प समर्थक लॉरा लूमर नस्लभेदी बयान देने के लिए जानी जाती हैं। उन्होंने कुछ महीने पहले कहा था कि अगर कमला राष्ट्रपति बनीं तो पूरा व्हाइट हाउस करी की तरह महकेगा।

              10 में से 7 H-1B वीजा भारतीयों को ही मिलता है बता दें कि अमेरिका हर साल 65,000 लोगों को H-1B वीजा देता है। इसकी समयसीमा 3 साल के लिए होती है। जरूरत पड़ने पर इसे 3 साल के लिए और बढ़ाया जा सकता है। अमेरिका में 10 में से 7 H-1B वीजा भारतीय लोगों को मिलती है। इसके बाद चीन, कनाडा, साउथ कोरिया का नंबर आता है।




                    Muritram Kashyap
                    Muritram Kashyap
                    (Bureau Chief, Korba)
                    RELATED ARTICLES
                    - Advertisment -

                          Most Popular