- ‘किसान तुंहर टोकन’ ऐप से धान विक्रय प्रक्रिया हुई और आसान
- किसान शिवनारायण सिंह ने घर बैठे प्राप्त किया टोकन
रायपुर: डिजिटल तकनीक और सुव्यवस्थित व्यवस्थाओं ने प्रदेश में धान खरीदी प्रक्रिया को पहले की तुलना में और अधिक पारदर्शी, सरल और किसान-हितैषी बना दिया है। राज्य भर के उपार्जन केन्द्रों में इस वर्ष ऑनलाइन सुविधाओं का व्यापक उपयोग हो रहा है, जिससे किसानों का समय, श्रम और लागत तीनों की बचत हो रही है।
सरगुजा जिले के अंबिकापुर ब्लॉक के ग्राम पंचायत लिबरा के किसान श्री शिवनारायण सिंह ने इस व्यवस्था पर अपनी संतुष्टि व्यक्त करते हुए बताया कि डिजिटल प्रणाली ने धान विक्रय प्रक्रिया को पूरी तरह सुगम बना दिया है। उन्होंने कहा कि उनके पास 57.20 क्विंटल धान का रकबा है और इस बार उन्होंने अपना टोकन घर बैठे ‘किसान तुंहर टोकन’ ऐप से प्राप्त किया। टोकन कटाने की प्रक्रिया में उन्हें किसी भी प्रकार की परेशानी नहीं हुई।
किसान शिवनारायण ने बताया कि दरिमा उपार्जन केंद्र पहुंचते ही समिति कर्मचारियों ने सहयोगात्मक व्यवहार किया। नमी परीक्षण के बाद उन्हें तुरंत बारदाना उपलब्ध कराया गया। उन्होंने कहा कि केंद्र में धान की तौल पूरी तरह पारदर्शी, व्यवस्थित और समयबद्ध तरीके से संपन्न हुई, जिससे किसानों का भरोसा मजबूत हुआ है।
उन्होंने यह भी बताया कि मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय के नेतृत्व में किसानों को 3100 रुपये प्रति क्विंटल का समर्थन मूल्य मिल रहा है, जिससे उनकी आर्थिक स्थिति और अधिक सुदृढ़ हो रही है। बेहतर मूल्य प्राप्त होने से किसान खेती-किसानी को विस्तार देने और कृषि निवेश बढ़ाने में सक्षम हो रहे हैं।
शिवनारायण सिंह ने कहा कि धान विक्रय से प्राप्त राशि का उपयोग वे कृषि साधनों को मजबूत करने में कर रहे हैं। उन्होंने राज्य सरकार तथा जिला प्रशासन द्वारा उपलब्ध कराई जा रही सुविधाओं के लिए आभार व्यक्त किया प्रदेश में जिला प्रशासन द्वारा सभी धान उपार्जन केंद्रों पर किसानों की सुविधा, सहयोग और पारदर्शिता को सर्वाेच्च महत्व दिया जा रहा है। डिजिटल व्यवस्था और सतत निगरानी के कारण इस वर्ष धान खरीदी प्रक्रिया किसानों के लिए अधिक सहज, सरल और सुगम सिद्ध हो रही है।

(Bureau Chief, Korba)




