Saturday, November 30, 2024
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Chhattisgarh : राशन नहीं मिलने से परेशान हो रहें ग्रामीण, आपबीती सुनाते रोने लगी महिला, कहा- तीन दिन से लगा रही लाइन; अधिकारी बोले- नेट फेल होने से ई-पॉश मशीन बंद

जगदलपुर: दंतेवाड़ा के गीदम में शासकीय उचित मूल्य की दुकान में राशन नहीं मिलने से एक महिला के आंसू छलक आए। महिला के मुताबिक वो पिछले तीन दिनों से राशन के लिए लाइन में खड़ी रहती हैं लेकिन अफसर उसे राशन नहीं होने की बात कहकर वापस लौटा देते हैं। महिला के मुताबिक उसके घर पर अन्न का एक दाना नहीं है।

अफसरों की माने तो पिछले कुछ दिनों से इंटरनेट फेल है जिससे पॉश मशीन काम नहीं कर रही है। इसी मशीन में हितग्रहियों का पूरा डेटा होता है। राशनकार्ड के जरिए उन्हें राशन दिया जाता है। लेकिन मशीन बंद होने से लोग प्रभावित हो रहे हैं।

राशन नहीं मिलने पर शासकीय उचित मूल्य की दुकान पर जमकर हंगामा हुआ।

राशन नहीं मिलने पर शासकीय उचित मूल्य की दुकान पर जमकर हंगामा हुआ।

सोसायटी पर निर्भर 1600 कार्डधारक राशन के लिए भटक रहे हैं। शुक्रवार को भी लोगों को राशन नहीं मिला। नेट फेल हो गया, तो इस लचर व्यवस्था के खिलाफ लोगों का जमकर गुस्सा फूटा। सोसायटी में ही खड़े होकर सरकार और प्रशासन के खिलाफ जमकर लोगों ने नारेबाजी की।

रोने लगी महिला।

रोने लगी महिला।

मीडिया ने परेशान लोगों से की बातचीत

1. मेरा नाम पालो है। गीदम नगर पंचायत के कड़ती पारा की रहने वाली हूं। मजदूरी का काम करती हूं। घर में छोटे भी बच्चे हैं। सरकारी राशन दुकान के चावल, नमक, शक्कर और चना पर परिवार निर्भर रहता है। घर की आर्थिक स्थिति ठीक नहीं है। अब घर में राशन भी खत्म हो गया है। इस महीने पिछले 10 दिनों से लगातार आ रही हूं। लेकिन, हर दिन वापस खाली हाथ जाती हूं। आज भी राशन नहीं मिला। अब बच्चों को क्या खिलाऊं। (यह कहकर महिला रोने लगी)

2. मैं कौतुकी नाग हूं। वार्ड नंबर 12 की रहने वाली हूं। पिछले 4 दिनों से लगातार राशन लेने या रही। दिनभर धूप, गर्मी में लाइन पर खड़े रहती हूं। लेकिन, राशन नहीं मिल रहा। आज की भी यही स्थिति है। हर बार कहा जाता है कि नेट फेल हो गया है। नहीं मिलेगा। शाम को खाली हाथ घर भेज दिया जाता है।

3. मेरा नाम ईटू जैन है। वार्ड नंबर 12 का रहने वाला हूं। मेरे साथ-साथ वार्ड के कई ऐसे लोग हैं, जो राशन लेने हरदिन आ जरूर रहे हैं, दिनभर लाइन में खड़े भी हो रहे हैं लेकिन शाम को खाली हाथ घर लौट रहे हैं। वजह पूछने पर नेट नहीं चलना कहा जा रहा है। राशन नहीं मिलने से परेशानी बढ़ रही है। समस्या का समाधान होना चाहिए।

4. मेरा नाम सुखदाई है। फुलपदर की रहने वाली हूं। पिछले 4 दिनों से अपने दुधमुंहे बच्चे को लेकर राशन लेने आ रही हूं। लेकिन राशन नहीं मिल रहा है। पति मजदूरी का काम करते हैं। मेरा परिवार भी इसी शासकीय उचित मूल्य की दुकान से मिलने वाले राशन पर निर्भर है। घर की आर्थिक स्थिति सही नहीं है। अब यहां से राशन नहीं मिला तो महंगे दामों पर बाजार से खरीदना पड़ेगा।

इसी मशीन से होता है रिकॉर्ड।

इसी मशीन से होता है रिकॉर्ड।

ये है समस्या

राज्य की सभी शासकीय उचित मूल्य की दुकान में अब राशन ऑनलाइन माध्यम से दिए जाते हैं। यहां ई-पॉश मशीन लगाई गई है। यह मशीन इंटरनेट से चलती है। सर्वर डाउन होने की वजह से मशीन काम करना बंद कर देती है। इस मशीन में हितग्राहियों का पूरा डेटा होता है। यानी किस हितग्राही को कितना राशन मिलना है, यह पहले से ही रिकॉर्ड में रहता है।

संचालक हितग्राही का नाम या फिर राशन कार्ड नंबर जैसे ही इस मशीन में डालता है, तो हितग्राही का राशन से संबंधित पूरा डेटा इसमें आ जाता है। इसी के माध्यम से फिर हितग्राहियों को राशन दिए जाते हैं। इसके लिए हाई स्पीड इंटरनेट होना जरूरी होता है। ऐसे में बस्तर जैसे इलाकों में यह सुविधा फेल साबित हो रही है। लोगों ने मैन्युअल राशन देने की मांग की है।

रोज लगती है लंबी कतार।

रोज लगती है लंबी कतार।

1600 से ज्यादा हैं कार्डधारक

दरअसल, गीदम की शासकीय उचित मूल्य की दुकान के कर्मचारियों ने बताया कि, इस सोसाइटी पर करीब 1600 से ज्यादा कार्डधारी निर्भर हैं। फरवरी महीने का राशन कुछ को मिल गया है, लेकिन कई ऐसे लोग भी हैं जिन्हें अब तक नहीं मिला है। अब महीने की अंतिम तारीख आ गई है। यदि राशन नहीं मिला तो अगले महीने भी इस महीने का राशन नहीं दिया जाएगा। पूरा राशन लैप्स हो जाएगा।

लैंप्स प्रबंधक नहीं उठा रहे फोन

दरअसल, गीदम लैंप्स प्रबंधक आलोक ठाकुर लोगों का फोन उठाना भी बंद कर दिए हैं। विवेक गुप्ता, संजय देवांगन समेत अन्य लोगों ने बताया कि, सुबह उनसे बात हुई थी। थोड़ी बहस भी हुई। राशन दुकान में बड़ी गड़बड़ी भी चलती है। जब पत्रकारों ने भी इनका पक्ष लेने इन्हें अलग-अलग समय पर करीब 4 से 5 बार कॉल किया तो इन्होंने फोन नहीं उठाया।

कलेक्टर बोले- समस्या का होगा समाधान

दंतेवाड़ा के कलेक्टर मयंक चतुर्वेदी ने कहा कि, लोगों की समस्या का समाधान किया जाएगा। इससे पहले भी इस तरह का मामला सामने आ चुका है। हमने राज्य सरकार को एक पत्र भी लिखा है। जल्द जी निराकरण किया जाएगा।

7 वार्ड के लोग हैं निर्भर

गीदम नगर पंचायत क्षेत्र के कुल 15 में से 7 वार्ड के लोग इस सोसाइटी पर निर्भर हैं। जिनमें वार्ड 1, 2 11, 12, 13, 14 और 15 है। इन वार्डों में सैकड़ों राशन कार्डधारी है।




Muritram Kashyap
Muritram Kashyap
(Bureau Chief, Korba)
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