दुर्ग: रिश्वत मामले में लाइन अटैच एएसआई नंदलाल टांडेकर ने ट्रांसपोर्टर सुखवंत सिंह और उसके भांजे प्रिंस सिंह के खिलाफ मारपीट और गाली गलौज करने का मामला दर्ज कराया है। एएसआई टांडेकर वहीं शख्स हैं, जिनका कुछ दिन पहले सुखवंत सिंह के पैरों में गिरकर माफी मांगने का वीडियो वायरल हुआ था।
एएसआई नंदलाल टांडेकर ने दुर्ग कोतवाली थाने में बताया कि दुर्ग में सीएम की भेंट मुलाकात कार्यक्रम के दौरान उनकी ड्यूटी पटेल चौक दुर्ग में लगाई गई थी। इस दौरान वहां से सरदार सुखवंत सिंह और प्रिंस सिंह गुजरे। दोपहर 2.30 से 3 बजे के बीच सरदार सुखवंत सिंह उनके पास आया और बोला कि, तुम्हारा माफी मांगने वाला वीडियो वायरल किया था, कैसा लगा। इस पर नंदलाल ने सुखवंत सिंह को गद्दार कह दिया।
इससे सुखवंत सिंह भड़क गया। उसने अपने साथी प्रिंस सिंह के साथ मिलकर नंदलाल से मारपीट शुरू कर दिया। दोनों ने एएसआई को खूब मारा और उसकी वर्दी तक फाड़ दी। उन लोगों ने टांडेकर को गंदी गंदी गालियां भी दीं। इस दौरान वहां मौजूद सिपाही अरविंद कुमार मेड़े ने मामले में बीच बचाव की कोशिश की, लेकिन सुखवंत और उसके साथी नहीं माने।
मारपीट का आरोपी सुखवंत सिंह
यह वायरल वीडियो का पूरा मामला
दरअसल भिलाई तीन थाने में पदस्थ एएसआई नंदलाल टांडेकर ने मार्च महीने में सुखवंत सिंह का ट्रक पकड़ा था। ट्रक छोड़ने के एवज में उसने सुखवंत से 15 हजार रुपए की रिश्वत मांगी। सुखवंत सिंह ने इसका वीडियो बनाया और अन्य साक्ष्यों सहित एसपी दुर्ग से शिकायत कर दी। एसपी दुर्ग डॉ. अभिषेक पल्लव ने शिकायत मिलते ही एएसआई टांडेकर लाइन अटैच कर दिया था।
एसपी की कार्रवाई से एएसआई टांडेकर काफी डर गया। उसने एक सिपाही को अपने साथ लिया और देर रात सुखवंत सिंह के घर पहुंच गया। वहां वो सुखवंत सिंह के पैरों में गिर गया और अपनी करनी के लिए माफी मांगने लगा। सुखवंत सिंह इसका सीसीटीवी फुटेज निकाला और उसे सोशल मीडिया में वायरल कर दिया था।