Kanker: छत्तीसगढ़ के कांकेर जिले के कोरर हुए भीषण सड़क हादसे में 7 बच्चों की जान चली गई थी। इनमें से 2 बच्चों का पैतृक गांव बालोद जिले के गुरूर विकासखंड में है। शुक्रवार सुबह इन दोनों भाई-बहन का अंतिम संस्कार गुरूर विकासखंड के ग्राम धनेली में किया गया। वहीं बाकी के 5 बच्चों का अंतिम संस्कार गुरुवार रात में कांकेर स्थित उनके गांवों में कर दिया गया। सभी बच्चों को दफनाया गया है।
गुरूर के ग्राम धनेली में भाई-बहन की मौत से परिवार सदमे में है। भाई मानव साहू (6 वर्ष) कांकेर के बीएसएन डिजिटल पब्लिक स्कूल में दूसरी कक्षा का छात्र था। वहीं उसकी बहन कुमकुम साहू (8 वर्ष) कक्षा चौथी में पढ़ती थी। गुरुवार को स्कूल की छुट्टी होने के बाद वे बाकी बच्चों के साथ ऑटो से लौट रहे थे, लेकिन कोरर के चिलहटी चौक के पास ट्रक ने उन्हें अपनी चपेट में ले लिया। हादसे में 2 बच्चों की मौके पर ही मौत हो गई थी, वहीं 5 बच्चों ने इलाज के दौरान दम तोड़ दिया था। इस भीषण सड़क हादसे में केवल एक बच्चे और ड्राइवर की जान बची है, जिनका इलाज जारी है।
भाई-बहन के शव के पास परिजन और विधायक।
विधायक संगीता सिन्हा पहुंचीं पीड़ित परिवार को ढांढस बंधाने
संजारी-बालोद की विधायक संगीता सिन्हा पीड़ित परिजनों के दुख में शामिल होने के लिए शुक्रवार सुबह उनके ग्राम धनेली स्थित घर पहुंचीं। वे दोनों भाई-बहन के शव के पास बैठीं और परिवार के साथ संवेदना जताते हुए उन्हें हरसंभव मदद का आश्वासन दिया। पड़ोसियों ने बताया कि दोनों बच्चे मानव और कुमकुम का परिवार मूल रूप से बालोद जिले का रहने वाला है, लेकिन उन्होंने कांकेर के कोरर क्षेत्र में घर खरीदा था और वहीं खेती करते थे। बच्चों के पिता महेश्वर साहू और मां का रो-रोकर बुरा हाल है और लोग उन्हें संभालने की कोशिश कर रहे हैं।
इसी स्कूल में पढ़ते थे सभी बच्चे।
विधायक संगीता सिन्हा ने लिखा भावुक पोस्ट
संजारी बालोद विधानसभा क्षेत्र की विधायक संगीता सिन्हा शोक कार्यक्रम से लौटकर अपने सोशल मीडिया अकाउंट पर एक भावुक पोस्ट भी डाला। उन्होंने लिखा कि “बच्चे परिवार की जान होते हैं। उनकी खिलखिलाती हंसी अगर किसी दुर्घटना की भेंट चढ़ जाए, तो माता-पिता और परिवार को असहनीय पीड़ा देती है और यह पीड़ा उम्र भर दिलों में घर कर जाती है।”
शासन से मिलेगी सहायता
विधायक के करीबी माने जाने वाले सुमित राजपूत ने बताया कि भानुप्रतापपुर से तहसीलदार भी यहां आने वाले हैं और विधायक उनका इंतजार कर रही हैं। उन्होंने बताया कि शासन एवं प्रशासन की तरफ से बच्चों के परिवार वालों को आर्थिक सहायता प्रदान की जाएगी। स्थानीय प्रशासन भी वहां के तहसीलदार का इंतजार कर रहे हैं और बच्चों का अंतिम संस्कार अकर दिया गया है।
मृत बच्चों के शव।
9 फरवरी को कांकेर जिले में हुआ भीषण सड़क हादसा
कांकेर जिले के कोरर चिलहटी चौक के पास 9 फरवरी को भीषण सड़क हादसा हुआ। यहां स्कूली बच्चों को लेकर जा रही ऑटो को ट्रक ने टक्कर मार दी, जिसमें 7 बच्चों की मौत हो गई। ऑटो में ड्राइवर और 8 बच्चे सवार थे। इस दुर्घटना में ऑटो में सवार 2 बच्चों की घटनास्थल पर ही मौत हो गई थी। वहीं 5 बच्चों ने इलाज के दौरान दम तोड़ा। टक्कर इतनी जबरदस्त थी कि ऑटो के परखच्चे उड़ गए। वहीं आरोपी ट्रक ड्राइवर फरार है, जिसकी तलाश की जा रही है। सभी बच्चों की उम्र 5 से 8 साल के बीच थी। सभी बच्चे बीएसएन डिजिटल पब्लिक स्कूल में पढ़ते थे।
इसी ट्रक ने ऑटो को मारी टक्कर।
कांकेर हादसे में घायल छात्र मेकाहारा में भर्ती
हादसे में एक बच्चे गौतम मंडावी और ड्राइवर की जान बची है। सड़क हादसे में घायल स्कूली छात्र को गुरुवार देर रात रायपुर लाया गया। 8 साल के गौतम कुमार मंडावी को अंबेडकर अस्पताल में एडमिट किया गया है। ऑटो का ड्राइवर भी गंभीर रूप से घायल है, जिसका इलाज किया जा रहा है। डॉक्टरों ने बताया कि बच्चे का इलाज कैजुअल्टी विभाग में करने के बाद उसे वेंटिलेटर पर रखा गया है। उसका इलाज क्रिटिकल केयर यूनिट (CCU) में किया जा रहा है। 4 डॉक्टरों की टीम बच्चे की सेहत पर नजर रख रही है। गौतम के सिर समेत शरीर के कई हिस्सों में फ्रैक्चर हुआ है और उसकी हालत गंभीर है।
अभी तक जो जानकारी मिली है, उसके अनुसार इन बच्चों की हुई मौत
1. रुद्रादेवी, ग्राम तुएगुहान, 6 वर्ष
2. रुद्र कुमार, ग्राम तुएगुहान, 7 वर्ष
3. इशान मंडावी, ग्राम बनोली, 4 वर्ष
4. मानव साहू, पैतृक निवास ग्राम धनेली, बालोद, 6 वर्ष
5. कुमकुम साहू, पैतृक निवास ग्राम धनेली, बालोद, 10 वर्ष
6. पीयूष गावडे
7. लीशांत गावडे