Sunday, September 8, 2024
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काेरबा: ढाेल-नगाड़े बजाकर भू-विस्थापितों ने घेरा दीपका सीजीएम ऑफिस, 2 घंटे दिया धरना…

  • एसईसीएल में संगठन के साथ हुई वार्ता में जिन मुद्दाें पर सहमति, उसमें पहल नहीं

राेजगार, मुआवजा, बसाहट व अन्य मुद्दाें काे लेकर ऊर्जाधानी भू-विस्थापित कल्याण संघ के नेतृत्व में खदान प्रभावित भू-विस्थापित व ग्रामीणाें ने कुछ माह पहले दीपका खदान में 8 घंटे तक आंदाेलन किया था। भू-विस्थापिताें की नाराजगी काे देखते हुए प्रबंधन ने मुख्यालय में वार्ता के लिए बुलाया था। इसमें कई मुद्दाें पर सहमति व कार्रवाई का आश्वासन दिया था, लेकिन वार्ता के एक माह बाद भी बैठक में िलए गए निर्णयाें पर काेई अमल नहीं किया गया।

इससे नाराज भू-विस्थापिताें ने एक बार फिर एसईसीएल प्रबंधन के खिलाफ माेर्चा खाेल दिया है। पहले की चेतावनी के तहत ऊर्जाधानी भू-विस्थापित किसान कल्याण संघ ने बुधवार काे एसईसीएल दीपका सीजीएम दफ्तर का घेराव कर दिया और धरना-प्रदर्शन किया। अफसरों को जगाने बड़ी संख्या में भू-विस्थापित दीपका श्रमिक चाैक से रैली के साथ ढाेल-नगाड़ा बजाते हुए आगे बढ़े और दीपका सीजीएम दफ्तर के मेनगेट के सामने पहुंचने के बाद नारेबाजी करने लगे। भू-विस्थापिताें काे देखते हुए सुरक्षाकर्मियाें ने गेट बंद कर दिया। इसके बाद भू-विस्थापित गेट के सामने ही बैठ गए और प्रबंधन के खिलाफ नारेबाजी करने लगे। करीब 2 घंटे तक घेराव व प्रदर्शन जारी रहा। इस दाैरान बृजेश श्रीवास, श्यामू जायसवाल, रविंद्र जगत, प्रकाश कोर्राम, संदीप कंवर, राहुल जायसवाल, गजेंद्र सिंह ठाकुर, ललित महिलांगे, संताेष दास महंत, कुलदीप सिंह राठाैर, सुभाष विनोद कंवर, अनसुईया राठौर, लता कुर्रे, भागीरथी यादव, राजेश कुमार, हेतराम, सिंदूर, दीपक श्याम, शनीष कुमार, बालेश्वर सिंह कंवर, बाली कोर्राम, गणेश श्याम, हरनारायण, चंद्रिका प्रसाद व अन्य ग्रामीण उपस्थित रहे।

7 दिन का अल्टीमेटम, चेतावनी- अनिश्चितकालीन आंदाेलन की
2 घंटे तक दीपका सीजीएम कार्यालय के मेनगेट के बाहर प्रदर्शन के बाद भू-विस्थापित किसी तरह से कार्यालय के अंदर पहुंचने में कामयाब हाे गए। भू-विस्थापिताें ने परियाेजना के डिप्टी जीएम शशांक कुमार देवांगन काे ज्ञापन साैंपा। इसमें भू-विस्थापिताें ने प्रबंधन काे अपनी 19 सूत्रीय मांगाें काे लेकर 7 दिनाें का अल्टीमेटम दिया है। अगर मांगाें काे लेकर काेई पहल या निराकरण नहीं हाेता है ताे 7 दिन बाद अनिश्चितकालीन आंदाेलन की चेतावनी दी गई है। इस दाैरान खदानाें में उत्पादन कार्य भी बंद कराया जाएगा।

चेयरमैन के दाैरे के समय भी मांगाें से कराया था अवगत, चेतावनी
ऊर्जाधानी भूविस्थापित संगठन ने काेल इंडिया चेयरमैन प्रमाेद अग्रवाल के गेवरा परियाेजना दाैरे के समय उनसे मिलकर अपनी समस्याओं व मांगाें से अवगत कराया था। इसमें उन्हाेंने उचित कदम उठाने का आश्वासन दिया था, लेकिन मांगाें काे लेकर एसईसीएल अधिकारियाें के रवैये काे देखते हुए भू-विस्थापिताें में नाराजगी है। भू-विस्थापिताें ने कहा है कि अगर आगे भी यही स्थिति रही तो प्रबंधन काे भू-विस्थापिताें की और नाराजगी झेलनी पड़ सकती है।

कंपनी मुख्यालय में इन मुद्दाें पर बनी थी सहमति, पहल तक नहीं
भू-विस्थापिताें के अनुसार एक माह पहले मुख्यालय में सीएमडी से वार्ता में सहमति बनी थी कि एक माह में बीओडी के साथ मुख्यालय स्तर पर बैठक की जाएगी। 1983-84 के रोजगार के लंबित मामलों को विशेष संज्ञान लेकर वन टाइम सेटलमेंट के आधार पर िनराकरण, सभी क्षेत्रों से आवेदित फाइलों को मंगाने, महिला खातेदारों व विवाहित बेटियों को रोजगार, वैकल्पिक रोजगार, कौशल उन्नयन कार्यक्रम शुरू करने व अन्य मुद्दाें पर सहमति जताई थी। अब तक काेई मांगे पूरी नहीं हुई।

प्रबंधन ने आश्वासन के बाद भी काेई पहल नहीं की: भू-विस्थापित
ऊर्जाधानी भू-विस्थापित किसान कल्याण संघ के पदाधिकारी ललित कुमार महिलांगे, गजेंद्र सिंह ठाकुर, रविंद्र जगत ने कहा कि दीपका मे खदान बंद आंदाेलन, गेवरा में अधिकारियाें के साथ चर्चा व मुख्यालय में सीएमडी से चर्चा वार्ता में प्रबंधन ऐसे कई मुद्दे जिस पर सहमति बनी थी, उसे पूरा करने का आश्वासन दिया था, लेकिन बैठक के एक माह बाद किसी भी मांग काे पूरा नहीं किया और न ही काेई पहल नजर दिखी। इसकाे लेकर भू-विस्थापिताें में प्रबंधन के खिलाफ गुस्सा है।

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