Monday, May 6, 2024
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पूर्व ADGP की गिरफ्तारी पर रोक: सुप्रीम कोर्ट ने जीपी सिंह पर किसी भी कार्रवाई पर रोक लगाई, छत्तीसगढ़ सरकार से भी मांगा जवाब…

निलंबित ADGP जीपी सिंह को सुप्रीम कोर्ट से बड़ी राहत मिली है। CJI एनवी रमना और जस्टिस सूर्यकांत की डिवीजन बेंच ने उनके खिलाफ राजद्रोह-भ्रष्टाचार के मामले में 4 हफ्तों तक किसी भी तरह की दंडात्मक कार्रवाई पर रोक लगा दी है। इसके साथ ही शीर्ष अदालत ने छत्तीसगढ़ सरकार से 4 हफ्ते में जवाब तलब किया है।

जीपी सिंह का घर यहां 1 जुलाई को छापे के बाद मामला गर्माया था।

जीपी सिंह का घर यहां 1 जुलाई को छापे के बाद मामला गर्माया था।

सिंह ने दोनों मामलों में राहत पाने के लिए छत्तीसगढ़ हाईकोर्ट में याचिका दायर की थी। सिंह ने अपनी याचिका में कहा था कि उन्हें राज्य सरकार के अधीन किसी जांच एजेंसी पर भरोसा नहीं है, इसलिए पूरे मामले को किसी स्वतंत्र जांच एजेंसी जैसे की CBI को सौंपना चाहिए। साथ ही उन्होंने दोनों मामलों में अग्रिम राहत पाने के लिए आवेदन भी प्रस्तुत किए थे, जिन्हें कोर्ट ने खारिज कर दिया था।

हाईकोर्ट में केवल अग्रिम राहत वाला आवेदन खारिज हुआ। सिंह की मूल याचिका जिसमें उन्होंने CBI से जांच सहित कुछ और डिमांड की है, अभी विचाराधीन है।

हाईकोर्ट में भी मामले की सुनवाई जारी है।

हाईकोर्ट में भी मामले की सुनवाई जारी है।

हाईकोर्ट ने अग्रिम राहत का आवेदन खारिज किया था
राजद्रोह और भ्रष्टाचार के मामले में अग्रिम राहत की मांग करते हुए सिंह ने हाईकोर्ट में दो आवेदन प्रस्तुत किए थे। कोर्ट ने कहा था कि ADG जीपी सिंह ने अग्रिम जमानत याचिका निचली अदालत में दायर की थी फिर बाद में उसे वापस ले लिया। इस आधार पर उनका पहला आवेदन खारिज किया जाता है। वहीं, दूसरे आवेदन के मामले में हाईकोर्ट ने कहा था कि हमने केस डायरी देख ली है। ऐसे में जांच रोकना ठीक नहीं होगा। उनके दोनों आवेदनों को खारिज कर कोर्ट ने अंतरिम राहत देने से इनकार कर दिया था। इसके बाद सिंह ने सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर की, जहां से उन्हें अब बड़ी राहत मिली है।

जानिए अब तक जीपी सिंह के केस में क्या हुआ

जांच के दौरान पुलिस जीपी सिंह के घर पहुंची थी।

जांच के दौरान पुलिस जीपी सिंह के घर पहुंची थी।

  • ACB ने जीपी सिंह के पुलिस लाइन स्थित सरकारी बंगले पर 1 जुलाई की सुबह 6 बजे छापा मारा था।
  • इसके साथ ही 15 अन्य ठिकानों पर भी एक साथ कार्रवाई की गई थी। करीब 68 घंटे से भी ज्यादा समय तक चली कार्रवाई के दौरान 10 करोड़ की अघोषित संपत्ति के साथ बंगले के पीछे गटर से कई डॉक्युमेंट्स मिले थे। इन्हें ही राजद्रोह के लिए साक्ष्य माना गया है।
  • छापे में शुरूआती जांच के बाद जीपी सिंह पर आय से अधिक संपत्ति मामले में FIR दर्ज की गई। पहले दिन जांच के बाद 5 करोड़ की चल-अचल संपत्ति का खुलासा हुआ। तीन दिनों तक जांच में 10 करोड़ की संपत्ति मिलने और इसके बढ़ने की आधिकारिक जानकारी दी गई।
  • इनके कारोबारी मित्र प्रीतपाल सिंह चंडोक के बेडरूम से 13 लाख रुपए के बंडल।
  • राजनांदगांव में चार्टर्ड अकाउंटेंट राजेश बाफना के ऑफिस से जीपी सिंह की पत्नी और बेटों के नाम 79 बीमा दस्तावेज मिले थे।
  • अब पुलिस राजद्रोह केस में जांच कर रही है, ACB भ्रष्टाचार के मामले में जांच कर रही है।
  • भ्रष्टाचार मामले में निलंबित ADG हाईकोर्ट से CBI जांच की मांग कर चुके हैं।
  • जुलाई महीने में कोतवाली थाने की टीम जीपी सिंह के घर पहुंची, कम्प्यूटर, लैपटॉप और पेन ड्राइव जब्त कर लिए गए।
  • बीते 20 दिनों में दो बार जीपी सिंह को कोतवाली थाने पहुंचने का नोटिस भेजा गया है मगर वो थाने नहीं गए।
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