मध्यप्रदेश: इंदौर में फर्जी एसडीएम बनकर व्यापारी से रंगदारी मांगने वाली महिला को क्राइम ब्रांच ने पकड़ा है। उसके पास राज्यपाल मंगुभाई पटेल के साइन किया हुआ फर्जी लेटर भी मिला है। क्राइम ब्रांच इसकी जांच कर रही है। बताया जा रहा है कि वह MPPSC क्लियर न कर सकी तो उसने फर्जी अफसर बनकर लोगों को ठगना शुरू कर दिया। व्यापारी की शिकायत पर क्राइम ब्रांच ने उसे गिरफ्तार कर लिया है।
नीलम पाराशर जिसे क्राइम ब्रांच ने गिरफ्तार किया है।
व्यापारी से सामान लिया, रुपए मांगे तो बोली-जेल भिजवा दूंगी
डीसीपी निमिष अग्रवाल ने बताया कि खुद को एसडीएम बता रही महिला का नाम नीलम पाराशर(40) है। वह खुद को देपालपुर इलाके की एसडीएम बताती थी। इसके चलते यहां पर वह कई लोगों से रंगदारी मांगती थी। गौतमपुरा के एक व्यापारी की शिकायत के बाद उसे क्राइम ब्रांच ने पकड़ा है। महिला कुछ दिन पहले खरीदारी करने पहुंची थी। सामान लेने के बाद व्यापारी ने बिल चुकाने को कहा तो रुपए देने के बजाय उसे जेल भिजवाने की धमकी दे डाली। जानकारी मिली है कि उसने महिला बाल विकास और पीडब्लयूडी जैसे विभागों में भी नियुक्ति के नाम पर लोगों से रुपए ऐंठे हैं। उसके पास राज्यपाल मंगू भाई के साइन वाला नियुक्ति पत्र भी मिला है। इसमें खुद के ट्रांसफर की बात कही गई थी।
राज्यपाल के हस्ताक्षर से जारी किया गया पत्र भी महिला के पास से बरामद किया है।
बोलने-काम करने का लहजा अफसरों जैसा
क्राइम ब्रांच के मुताबिक फर्जी महिला एसडीएम एमपीपीएससी के जरिए राज्य प्रशासनिक अधिकारी पद के लिए तैयारी कर रही थी। लेकिन वह सिलेक्ट नहीं हो पाई। उसने कई अधिकारियों को देखने के बाद उनके ही लहजे में ही काम करना शुरू कर दिया। उसके बोलने और चलने फिरने के साथ रहन-सहन पूरा अधिकारियों जैसा दिखता है। अभी यह जांच की जा रही है कि इतने नियुक्ति पत्र और लेटर उसके पास कहां से आए थे।